इलाहाबाद : उत्तरप्रदेश में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले राजनीतिक गलियों में गर्माहट बढ़ गई है. पहले गालिओं का दौर शुरू हुआ और अब पोस्टर वार शुरू हो गया है. गालियों की राजनीति से से सुर्ख़ियो में आई स्वाति सिंह के नाम पर अब पोस्टर वार शुरू हुआ है . इलाहाबाद में लगाए गए एक विवादित पोस्टर में स्वाति सिंह को देवी दुर्गा के रूप में पेश किया गया है. वहीं इस पोस्टर में बीएसपी सुप्रीमो मायावती को सूर्पनखा तो यूपी बीजेपी के अध्यक्ष केशव प्रसाद मौर्य को भगवान राम और स्वाति सिंह के पति दयाशंकर सिंह को उनके अनुज लक्ष्मण के तौर पर दिखाया गया है.
पोस्टर के ज़रिये स्वाति सिंह को देवी दुर्गा के तौर पर पेश करने वाले बीजेपी समर्थक इलाहाबाद युनिवर्सिटी के छात्र नेता अनुराग शुक्ल का कहना है कि अपनी बेटी के सम्मान में स्वाति ने जिस तरह संघर्ष किया है और उन्होंने जो तेवर दिखाए हैं, उसके बाद देवी दुर्गा से उनकी तुलना किया जाना कतई गलत नहीं है.
पोस्टर में बीएसपी नेता नसीमुद्दीन सिद्दीकी, सतीश मिश्र और बीएसपी के बागी स्वामी प्रसाद मौर्य के बारे में भी आपत्तिजनक टिप्पणी की गई है. पोस्टर में नसीमुद्दीन सिद्दीकी को रावण, सतीश मिश्र को मारीच और स्वामी प्रसाद मौर्य को विभीषण बताकर उन्हें इसी रूप में पेश किया गया है.
पोस्टर में स्वाति सिंह के साथ ही सभी नेताओं की तस्वीरें उनको बताए गए अवतारों में लगाई गई है. बीएसपी सुप्रीमों मायावती की नाक कटी हुई फोटो इस पोस्टर में लगाई गई है. पोस्टर लगाने वाले बीजेपी समर्थक छात्र नेता अनुराग शुक्ल ने खुद को आरक्षण मुक्त महासंगठन का संयोजक भी बताया है.
इन लोगों ने स्वाति सिंह के समर्थन में जमकर नारेबाजी भी की है. स्वाति सिंह को देवी दुर्गा के तौर पर पेश किये जाने वाला यह पोस्टर शहर में तमाम जगहों पर लगाया गया है. हालांकि शिकायत मिलने पर पुलिस और नगर निगम की टीमों ने कई जगहों पर पोस्टरों को जबरन हटवा दिया. इस दौरान पोस्टर लगाने वालों और पुलिस में तीखी झड़प भी हुई है.