डेस्क : बिहार विधानसभा चुनाव का चुनाव परिणाम आने के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पहली बार जनता दल यूनाइटेड के प्रदेश कार्यालय में मीडिया से मुखातिब हुए। उन्होंने कहा कि एनडीए गठबंधन की बैठक में तय किया जाएगा कि कौन बिहार का अगला मुख्यमंत्री होगा। इसका फैसला तो एनडीए के नेताओं को करना है।
हां, यह तय है कि एनडीए जनादेश के अनुसार सरकार बनाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि अभी शपथ ग्रहण कोई तारीख तय नहीं की गई है। लोक जनशक्ति पार्टी के एनडीए में रहने के सवाल पर नीतीश कुमार ने कहा कि इसपर फैसला भारतीय जनता पार्टी को करना है। अपनी आखिरी चुनावी रैली को लेकर यह भी साफ किया कि उन्होंने उसमें राजनीति से संन्यास की कोई बात नहीं कही थी।
सरकार गठन की प्रक्रिया जल्द ही आरंभ होगी। चुनाव आयोग ने भी विधायकों की सूची सौंप दी है। अभी यह तय नहीं है कि उनकी नई सरकार का शपथ ग्रहण कब होगा। यह दीपावली के बाद होगा या छठ के, यह भी तय नहीं है। हम रिजल्ट का विश्लेषण कर रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हम पर किसी का दबाव नहीं रहा है। काम करने पर भी अगर कई लोग आपका साथ नहीं दे तो यह उनका निर्णय है। सभी को अधिकार है अपनी तरह से सोचने का। उनकी सरकार ने समाज में कोई भेदभाव नहीं किया। भाईचारा व सद्भाव का माहौल तैयार किया। कानून-व्यवस्था की स्थिति ठीक रखी। कोई दंगा-फसाद भी नहीं होने दिया। उन्होंने कहा कि सरकार आगे भी अपराध, भ्रष्टाचार व सांप्रदायिकता से कोई समझौता नहीं करेगी।
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एलजेपी की वजह से जो नुकसान हुआ है तो क्या इसके बाद भी वह एनडीए का अंग रहेगा या नहीं? इस सवाल के जवाब में मुख्यमंत्री ने कहा कि यह बीजेपी को तय करना है कि वह एनडीए का हिस्सा है या नहीं। बता दें कि धमदाहा की चुनावी सभा में नीतीश कुमार ने अपने संन्यास को लेकर कोई बात नहीं कही थी। हर चुनाव की आखिरी सभा में वह यह कहते रहे हैं कि यह उनकी आखिरी चुनावी सभा है।