नई दिल्ली : केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कश्मीर में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के काफिले पर आतंकवादी हमले के बाद पाकिस्तान पर भारत को अस्थिर करने का आरोप लगाया। साथ ही श्री सिंह ने कहा कि एक केंद्रीय दल उस संभावित चूक का पता लगाएगा जिससे हो सकता है यह घटना हुई हो।
सिंह ने कहा कि सुरक्षा बलों को ‘स्थायी आदेश’ है कि पहले गोली नहीं चलायें लेकिन ‘जवाबी कार्रवाई करते समय गोलियां नहीं गिनें।’ गृह मंत्रालय के अधिकारियों का तीन सदस्यीय दल यह पता लगाने के लिए मंगलवार को कश्मीर का दौरा करेगा कि पम्पोर में हुए हमले के मामले में क्या कोई चूक थी। यह हमला हाल के वर्षों में सुरक्षा बलों पर होने वाला भीषण हमला था जिसमें सीआरपीएफ के आठ जवान शहीद हो गए और 21 अन्य घायल हो गए।
अधिकारियों का दल सीमापार से घुसपैठ में हुई संभावित बढ़ोतरी एवं जम्मू कश्मीर में अद्धसैनिक बलों के काफिले के आवागमन में पालन किये जाने वाले तौर तरीकों का भी पता लगाएगा।
सिंह ने पाकिस्तान की ओर स्पष्ट इशारा करते हुए कहा कि इन आतंकवादियों और हमारे पड़ोसी देश द्वारा भारत को अस्थिर करने का एक प्रयास किया जा रहा है। उन्होंने पंजाब के फतेहगढ़ साहिब में सिख योद्धा बाबा बंदा सिंह बहादुर के 300वें शहीदी दिवस पर एक समारोह को संबोधित करते हुए कहा मैं अपने सुरक्षाकर्मियों की बहादुरी की प्रशंसा करना चाहता हूं। मैं उनके साहस को सलाम करता हूं। आतंकवादियों ने उन पर छलपूर्वक हमला किया। फिर भी हमारे सुरक्षाबलों ने उन दो आतंकवादियों को सफलतापूर्वक मार गिराया।’
बाद में सिंह ने रांची में एक कार्यक्रम में कहा, ‘हम आतंकवाद के खिलाफ जीतेंगे।
उन्होंने याद किया कि पाकिस्तानी रेंजर्स द्वारा पांच नागरिकों को मारे जाने के बाद उन्होंने एक आदेश था। उन्होंने कहा कि मैंने उनसे कहा था कि हम पहली गोली नहीं चलायेंगे लेकिन जब हम पर हमला हो तो जवाबी कार्रवाई करते समय गोलियां नहीं गिनिये, वह स्थायी आदेश अब भी लागू है।
जिससे हम भविष्य में उसे ठीक कर सकें और इस तरह की घटनाओं में हमारे जवान शहीद नहीं हों।’ दल का नेतृत्व सचिव (सीमा प्रबंधन) सुशील कुमार करेंगे और यह दल अपनी रिपोर्ट जल्द से जल्द सौंपेगा।