नयी दिल्ली : केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने विजय माल्या ऋण चूक मामले में आज आईडीबीआई बैंक के पूर्व चेयरमैन एवं तीन अन्य पूर्व अधिकारियों और किंगफिशर एयरलाइंस के चार पूर्व कार्यकारियों को गिरफ्तार किया। सीबीआई के सूत्रों ने बताया कि गिरफ्तार किए गए लोगों में आईडीबीआई बैंक के पूर्व चेयरमैन योगेश अग्रवाल और अब बंद हो चुकी विमानन कंपनी किंगफिशर एयरलाइंस के पूर्व मुख्य वित्त अधिकारी ए. रघुनाथन शामिल हैं।
इसके अलावा एयरलाइन के तीन और पूर्व कार्यकारियों और बैंक के तीन पूर्व अधिकारियों को भी हिरासत में लिया गया है। इससे पहले सीबीआई के अधिकारियों ने माल्या के घर समेत 11 स्थानों पर छापेमारी की थी।
इनमें बेंगलुरू में यूबी टावर की तीन मंजिलें और अग्रवाल एवं रघुनाथन के आवास शामिल हैं। यूबी समूह ने एक बयान में सीबीआई के छापे मारे जाने की पुष्टि की है।
सीबीआई सूत्रों ने बताया कि एजेंसी द्वारा गिरफ्तार किये गये आईडीबीआई के अन्य अधिकारियों में ओ वी बुंदेलू, एस के वी श्रीनिवासन और आर एस श्रीधर हैं। उन्होंने कहा कि किंगफिशर एयरलाइन्स के पूर्व सीएफओ के अलावा तीन अन्य पूर्व अधिकारियों शैलेश बोरके, ए सी शाह और अमित नदकर्णी को भी गिरफ्तार किया गया है।
सूत्रों के मुताबिक ये गिरफ्तारियां कई शहरों में हुई हैं। रघुनाथन को मुंबई से गिरफ्तार किया गया, वहीं अग्रवाल को गुड़गांव से हिरासत में लिया गया।सीबीआई ने आरोप लगाया है कि अग्रवाल ने ऋणों को मंजूरी दी थी।
जांच के दौरान सीबीआई को रघुनाथन की आईडीबीआई बैंक से कथित बातचीत के बारे में पता चला जिसमें उन्होंने माल्या और अग्रवाल की बैठकों का जिक्र किया था। एजेंसी पता लगा रही है कि क्या इन मुलाकातों के बाद लोन दिया गया।
सीबीआई ने अब बंद हो चुकी किंगफिशर एयरलाइन्स के निदेशक माल्या, एयरलाइन्स के मुख्य वित्तीय अधिकारी ए रघुनाथन और आईडीबीआई के अज्ञात अधिकारियों के खिलाफ मामला दर्ज किया था। कर्ज देने की सीमा के संबंध में नियमों का उल्लंघन करते हुए ऋण दिये जाने के आरोप हैं।
माल्या पर सीबीआई की ओर से एक और मामला भी दर्ज किया गया है। एजेंसी ने कहा कि भारतीय स्टेट बैंक की एक शिकायत पर माल्या और अन्य लोगों के खिलाफ एक मामला दर्ज किया गया है। एसबीआई उन 17 बैंकों के संघ का अगुवा है जिन्होंने किंगफिशर एयरलाइन्स को ऋण दिये थे।