नई दिल्ली : पुलिस ने पाकिस्तानी उच्चायोग के एक अधिकारी की ओर से संचालित जासूसी गिरोह में कथित रूप से संलिप्त होने के मामले में जोधपुर के एक पासपोर्ट एवं वीजा एजेंट शोएब को गिरफ्तार किया है। दिल्ली पुलिस ने कहा है कि अब तक गिरफ्तार किए गए तीन पाकिस्ताशनी जासूसों का नेटवर्क है, जिसमें कुछ और लोग शामिल हैं। शोएब एक वीजा एजेंट है और उससे पूछताछ जारी है।
पुलिस ने खुफिया जानकारी मिलने के बाद दिल्ली चिड़ियाघर से बुधवार को पाकिस्तान उच्चायोग के अधिकारी महमूद अख्तर को दो भारतीयों से साथ गिरफ्तार किया था जिनकी पहचान मौलाना रमजान और सुभाष जांगीर के रूप में की गई है जबकि वीजा एजेंट शोएब चकमा देकर भागने में सफल हो गया था।
दिल्लीम पुलिस के अनुसार, शोएब पिछले तीन चार साल से भारत में ऑपरेट कर रहा था और उसके पाकिस्ताीन उच्चारयोग में संपर्क हैं। शोएब ने छह बार पाकिस्ता न गया है। उसकी मां और अन्य रिश्तेतदार पाकिस्तामन में रहते हैं और सीमा पार उसके संपर्क हैं। शोएब के पास से गुप्तक दस्तापवेज बरामद किए गए हैं। एक फैबलेट भी मिला है, जिसे उसने नष्टै करने की कोशिश की।
एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने आज बताया कि शोएब को गुरुवार शाम जोधपुर के निकट हिरासत में लिया गया और बाद में यहां लाने के बाद उसे गिरफ्तार किया गया। अख्तर को कल अवांछित व्यक्ति घोषित किया था, जबकि सुभाष एवं मौलाना को भारत-पाकिस्तान सीमा के पास सीमा सुरक्षा बल की तैनाती की जानकारी, संवेदनशील सूचना एवं रक्षा दस्तावेज साझा करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। उन्हें 12 दिवसीय पुलिस हिरासत में भेजा गया था।
यह पाया गया था कि शोएब सुभाष एवं मौलाना को मॉड्यूल में भर्ती करने के लिए जिम्मेदार है। अधिकारी ने बताया कि शोएब करीब डेढ साल पहले मौलाना के संपर्क में आया था और उसने उसे गुजरात एवं राजस्थान में सेना एवं अर्धसैन्य बलों के ठिकानों के बारे में अहम सूचना एकत्र करने की गतिविधियों में शामिल होने के लिए फुसलाया था। अधिकारी ने कहा कि हमने शोएब को हिरासत में लेने के लिए जोधपुर पुलिस से अनुरोध किया था और उसे कल शाम हिरासत में लिया गया। शोएब से पूछताछ के बाद गिरोह के अन्य जासूसों के बारे में सूचना का खुलासा हो सकता है।