सुधीर कुमार
पटना :बिहार में गंडक, बूढ़ी गंडक और बागमती नदियों में जलस्तर के बढ़ने के कारण बाढ़ की स्थिति और भयावह ही गई है । चौदह जिलों की एक हजार 43 पंचायतों के पचास लाख से अधिक लोग बाढ़ से बुरी तरह प्रभावित हैं। गोपालगंज, मधुबनी, सीतामढ़ी और पश्चिमी चंपारण में ये स्थिति और गंभीर हो गई है। पिछले चौबीस घंटों में बाढ़ संबंधित घटनाओं में छत्तीस लोगों की मृत्यु हो चुकी है। रेल लाइनों के पानी में डूब जाने के कारण पूर्व मध्य रेलवे के दरभंगा-समस्तीपुर खंड पर रेलगाड़ियों की आवाजाही स्थागित कर दी गई है। मुजफ्फरपुर और छपरा के बीच सड़कों के क्षतिग्रस्त हो जाने के कारण वाहनों की आवाजाही बंद है।
तिरहुत नहर का तटबंध टूटा : मुजफ्फरपुर -पूसा फार्म मार्ग बंद
मुजफ्फरपुर के सकरा थाना इलाके के मोहमदपुर कोठी में तटबंध टूटने के बाद बाढ़ का पानी इलाके में तेजी से फैलने लगा.जिससे इलाके में अफरा तफरी का माहौल बन गया , इसी बीच इस अफवाह ने ज़ोर पकड़ी की बूढी गंडक का तटबंध टूट गया , फिर क्या था लोग घरों से सुरक्षित जगह की ओर पलायन करने लगे लेकिन जल्द ही इस अफवाह की हवा निकल गई।
विजय छपरा रिंग बांध कटा
इधर, अहियापुर इलाके के विजय छपरा रिंग बांध कटने से अब बूढ़ी गंडक का पानी तेजी से फैल रहा है. शनिवार को भिखनपुर, मिठनपुरा, रसुलपुर वाजिद, झपहां डीह, नेउरी सहित कई नये मोहल्ले में चार से पांच फीट तक पानी जमा हो गया है. इन मोहल्ले में रहने वाले लोग घर की छत पर शरण ले चुके है.
उधर राज्य में राहत और बचाव कार्य जारी है। करीब चार लाख लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है। हजारों लोग राहत शिविरों में रह रहे हैं। गंडक, बागमती, कमलाबलान, महानंदा और अधवारा समूह की नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। मौसम विभाग ने अगले चौबीस घंटों के दौरान राज्य में वर्षा की चेतावनी दी है।