बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने शनिवार को कथित गोरक्षकों और भीड़ द्वारा की जा रही हत्याओं के सवाल पर नरेंद्र मोदी सरकार का बचाव किया. शाह ने कहा कि 2011 से 2013 के दौरान भीड़ द्वारा हत्या करने की सबसे ज्यादा घटनाएं हुई, जब केंद्र में कांग्रेस की अगुवाई वाली यूपीए की सरकार थी.
कांग्रेस के शासन में ज्यादा मॉब लिंचिंग
एक सवाल के जवाब में शाह ने कहा कि ‘हाल में हुई घटनाओं की तुलना नहीं करना चाहता और न ही इनको कम करके आंकता हूं. मैं इस मामले में गंभीर हूं लेकिन 2011, 2012 और 2013 में भीड़ द्वारा हत्या करने के सबसे ज्यादा मामले हुए.’ शाह ने कहा कि हमारे तीन साल में जितनी लिंचिंग की घटनाएं हुई हैं, उससे ज्यादा एक-एक साल में हुई है. मगर ये सवाल कभी नहीं उठा था.
अमित शाह ने उल्टा पत्रकारों से सवाल करते हुए कहा कि क्या आप कोई ऐसी घटना के बारे में जानते हैं, जिसमें गिरफ्तारी न हुई हो? डर को लेकर मेरे पास कोई जवाब नहीं है. देश में कहीं भी किसी तरह का भय नहीं है.
शाह ने कहा, ‘और अब (मोदी सरकार के आने के बाद) सवाल किस तरह से उठाए जाते हैं? मोहम्मद अखलाक की मौत हो गई. उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी की सरकार है. कानून-व्यवस्था राज्य का मामला है. जिम्मेदारी समाजवादी पार्टी सरकार की है. और धरना दिल्ली में मोदी सरकार के सामने देंगे. क्या फैशन है?’